ज्ञानदान युगधर्म है:उमानन्द शर्मा

ज्ञानदान युगधर्म है:उमानन्द शर्मा
गायत्री ज्ञान मंदिर का ज्ञान यज्ञ अभियान, विवेकानन्द कॉलेज ऑफ नर्सिंग, लखनऊ के पुस्तकालय में हुई 440 वें युगऋषि वाङ्मय की स्थापना
समग्र चेतना/ राहुल तिवारी
लखनऊ। गायत्री ज्ञान मंदिर इंदिरा नगर, लखनऊ के विचार क्रान्ति ज्ञान यज्ञ अभियान के अन्तर्गत विवेकानन्द कॉलेज ऑफ नर्सिंग, के पुस्तकालय में गायत्री परिवार के संस्थापक युगऋषि पं० श्रीराम शर्मा आचार्य द्वारा रचित सम्पूर्ण 79 खण्डों का 440वाँ ऋषि वाङ्मय की स्थापना का कार्यक्रम सम्पन्न हुआ। उपरोक्त साहित्य गायत्री परिवार की सक्रिय कार्यकर्ता श्री अखिल श्रीवास्तव (पुत्र) और डॉ० श्रुति श्रीवास्तव (पुत्रवधू) अपने दिवंगत माता-पिता स्व० कुसुम लता एवं नारायन प्रसाद की स्मृति में भेंट किया। इस अवसर पर अधिकारियों को अखण्ड ज्योति (हिन्दी) पत्रिका भी भेंट की।
इस अवसर पर वाङ्मय स्थापना अभियान के मुख्य संयोजक उमानंद शर्मा ने कहा कि ज्ञानदान युगधर्म है। पी०डी० सारस्वत ने भी अपने विचार रखे। कार्यक्रम का समापन संस्थान के प्राचार्य प्रो० व्यंकट लक्ष्मी नारायण के धन्यवाद ज्ञापन के साथ सम्पन्न हुआ।
इस अवसर पर गायत्री ज्ञान मंदिर के प्रतिनिधि उमानंद शर्मा, वी०के० श्रीवास्तव, देवेन्द्र सिंह, डॉ० श्रुति श्रीवास्तव, अखिल श्रीवास्तव, पी०डी० सारस्वत, रीता सारस्वत, लक्ष्मी जोशी, डी०पी० शर्मा सहित संस्थान की ओर से राम कृष्ण सेवा आश्रम मिशन के सचिव स्वामी मुक्तिनाथानन्द, संस्थान के प्राचार्य प्रो० व्यंकट लक्ष्मी नारायण तथा प्रो० गंगा पोताई के साथ-साथ संस्थान के अन्य अधिकारी, कर्मचारी एवं छात्र-छात्रायें मौजूद रहे।




