स्वच्छता ग्राहियो ने नियमित कार्य व निश्चित मानदेय की मांग की

सीतापुर। जनपद में कार्यरत स्वच्छता ग्राहीयों के द्वारा अपनी मांगों को लेकर एक दिवसीय धरना प्रदर्शन किया गया एवं उसके उपरांत ज्ञापन सौंपा गया संस्था के जिलाध्यक्ष प्रसनजीत के द्वारा बताया गया कि सभी स्वच्छता ग्रही प्रशिक्षण प्राप्त सक्रिय स्वच्छता ग्रही हैं जो कि जनपद में हर ग्राम सभा में शासन के आदेश पर बकाया स्वामित्व नियुक्ति पत्र देकर चयनित ग्राम सभा में रखे गए हैं।
विपरीत 5 से 6 वर्ष से पंचायती राज विभाग द्वारा स्वच्छता ग्रही के साथ सौतेला व्यवहार किया जा रहा है, जबकि मुख्यमंत्री उत्तर प्रदेश के द्वारा 31 अगस्त 2018 को आदेश दिया गया था कि प्रति ग्राम सभा में एक स्वच्छता ग्रही तैनात किया जाए। जिसका की बाकायदा पेपर गजट भी है और आदेश की हार्ड कॉपी भी हैं इसके बाद मुख्य सचिव अपर मुख्य सचिव द्वारा आदेश जारी हुआ कि बीच में कुछ स्वच्छता ग्रेही का आधा अधूरा मानदेय का एक चौथाई का भुगतान करके छोड़ दिया गया।
जबकि टीग रिंग मॉर्निंग इवनिंग फॉलोअप व चौपाल का 300 प्रतिदिन तथा ग्राम सभा में बनी प्रति शौचालय 150 देना था फेस टू में सर्वे का प्रति मजरा 500 शासन द्वारा तय किया गया था। मगर कुछ लोगों का ही एक चौथाई का भुगतान किया गया है, जबकि हर एक स्वच्छता ग्रही अपनी जान की बाजी लगाकर गांव जिला व प्रदेश को ओडीएफ खुले में शौच को मुक्त बनाने के लिए अपना मान सम्मान स्वाभिमान को देश के लिए कुर्बान कर रहा है। मगर स्वच्छता ग्राहीयों को शासन द्वारा बाहर का रास्ता दिखाया जा रहा है। इस अवसर पर अंकित कुमार, जिला उपाध्यक्ष शिवा राजपूत, मोहम्मद रिजवान, कृपाशंकर शुक्ला, रमाकांत, रोहित कुमार, चंद्रहास, इंद्र मोहन शुक्ला, वीरेंद्र पाल ,पवन कुमार आदि अन्य स्वच्छता ग्रही मौजूद रहे।



