एसीएमओ ने पीएचसी हरौनी का निरीक्षण के साथ ही की आटो में डिलीवरी मामले की पड़ताल
एसीएमओ ने पीएचसी हरौनी का निरीक्षण के साथ ही की आटो में डिलीवरी मामले की पड़ताल
प्रसुता और उसके परिजनों के बयान के साथ ही दर्ज किये बयान
लापरवाही पर लगाई फटकार
समग्र चेतना लखनऊ
लखनऊ। सरोजनीनगर में हरौनी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र गेट के बाहर गुरुवार शाम ऑटो पर गर्भवती महिला के हुए प्रसव मामले में शनिवार को एसीएमओ बीएन यादव ने प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पहुंचकर मामले की जाँच पड़ताल की। हर दौरान एसीएमओ ने स्टाफ नर्सो के अलावा प्रसूता रोशनी के भाई आनंद के भी बयान लिए। साथ ही उन्होंने अस्पताल स्टाफ द्वारा कार्यों में लापरवाही बरतने पर नाराजगी जताई। बाद में एसीएमओ ने प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र का निरीक्षण भी किया। जहाँ वह अस्पताल परिसर में गंदगी देख काफी नाराज हुए।
उन्होंने अस्पताल में स्टाफ की कमी होने पर स्टाफ बढ़ाने को भी कहा। हालाकि एसीएमओ बीएन यादव ने इस संबंध में प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र स्टाफ की कोई कमी पाए जाने से साफ इनकार किया है। उन्होंने बताया कि प्रसूता को रास्ते में ही प्रसव हो गया था। इसके बाद उसके परिजन उसे लेकर प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पहुंचे। जबकि प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र के बाहर पहले से ही सूचना चस्पा थी कि इमरजेंसी वाले मरीजों को सरोजनीनगर सीएचसी ले जाएं। उन्होंने बताया कि प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में तीन स्टाफ नर्सों की तैनाती है। लेकिन वह डेंगू से पीड़ित चल रही हैं।
इसके कारण उन्होंने छुट्टी ले रखी है। लेकिन फिर भी बाद में वार्ड बॉय द्वारा जच्चा बच्चा को अस्पताल में भर्ती कर लिया गया, जो बिल्कुल स्वस्थ हैं। बल्कि नॉर्मल डिलीवरी होने के कारण शनिवार को उन्हें छुट्टी भी दे दी गई। बताते चलें कि गर्भवती रोशनी के लतीफ नगर निवासी परिजनों ने आरोप लगाया था कि प्रसव पीड़ा से परेशान रोशनी को गुरुवार शाम करीब 6 बजे वह ऑटो रिक्शा से प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र हरौनी लेकर गए थे। लेकिन वहां अस्पताल में ताला बंद मिला। जिसके कारण ऑटो में ही रोशनी के प्रसव हो गया और उसने एक स्वस्थ नवजात को जन्म दिया। उन्होंने यह भी आरोप लगाया था कि बाद में वार्ड ब्वाय को बुलाया गया, जिसने करीब 3 घंटे बाद रात करीब 9 बजे अस्पताल पहुंचकर जच्चा बच्चा को भर्ती किया।



